Nifty Kya Hai और ये कैसे काम करता है? पूरी जानकारी

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जब भी शेयर मार्केट की बात होती है तो Nifty शब्द हमें अक्सर सुनने को मिलता है। आपने भी कई बार लोगो से ये बोलते सुना होगा की आज निफ्टी इतना अंक ऊपर गया, इतना अंक नीचे गया। ये सुनने के बाद आपके मन में कई सवाल घूमते होंगे, जिसका जवाब हमें इस आर्टिकल में बताया है।

यदि आप शेयर मार्केट में निवेश करने की सोच रहे है तो Nifty kya hai, यह कैसे काम करता है? ये सब आपको अच्छे से मालूम होना आवश्यक है। इसके लिए इस पोस्ट में हमने Nifty meaning in hindi से जुड़ी पूरी जानकारी दी है। इसके अलावा निफ्टी और सेंसेक्स के बीच का अंतर भी बताया है, तो ध्यान से पढ़े ताकि अच्छे से समझ आ सके।  

Nifty Kya Hai

निफ्टी देश का एक प्रमुख Stock Index है, जो की NSE (नेशनल स्टॉक एक्सचेंज) द्वारा पेश किया जाता है। इसकी शुरुआत साल 1994 में हुई थी, जिसका पूरा नाम नेशनल स्टॉक एक्सचेंज 50 है। लोग इसे Nifty 50 के नाम भी जानते है। Nifty के अंदर 50 सबसे बड़ी कंपनियां शामिल रहती है, जिनमें कुल 12 तरह की कंपनियां जैसे मेडिकल, ऑटोमोबाइल, बैंकिंग, रियल एस्टेट, इत्यादि है।

इन कंपनी का market cap सबसे अधिक और आर्थिक स्थिति भी मजबूत होता है। यह Nifty दो शब्द National और fifty से मिलकर बना है। इसमें Fifty का मतलब उन 50 कंपनियों से है जो लिस्टेड है। आपको बता दे, निफ्टी की गणना भी सेंसेक्स की तरह फ्री फ्लोट मार्केट कैपिटलाइजेशन के अनुसार होती है। निफ्टी में मौजूद कंपनियों के शेयर जब अधिक होते है, तो निफ्टी का अंक ऊपर जाता है, और जब शेयर की कीमत घटते पर निफ्टी नीचे चला जाता है। NIFTY को देखकर ही निवेशको का पता लगता है की आज शेयर बाजार की हालत अच्छी है या बुरी।

निफ्टी अंक से अनुमान लगाते है की अभी निवेश करना सही रहेगा या नही। लेकिन इस बता का हमेशा ध्यान रखे की निफ्टी के अंको पर कभी भी पूरी तरह से आंख बंदकर विश्वास नही करना है। आपको खुद भी देखना है। निवेशक निफ्टी देखकर ही शेयर बाजार की स्थिति का अनुमान लगाते है, लेकिन इस बात का ख़ास ध्यान रखे, निफ्टी के आंखो से सिर्फ एक अंदाजा मिलता है। इसपर आंख बंद करके पूरी तरह से विश्वास करना सही नहीं है। 

NIFTY कैसे काम करता है? 

हमने nifty kya hai in hindi ये तो समझ लिया, अब हम जानेंगे की निफ्टी काम कैसे करता है ताकि आपको और भी बेहतर तरीके से समझ आ सके। निफ्टी के अंदर कुल 50 कंपनियां होती है। इन कंपनियों का नाम हमेशा निफ्टी में लिस्टेड नही रहता है। प्रत्येक 6 महीने के बाद एक टीम द्वारा निफ्टी में लिस्टेड हर एक कंपनी को रिव्यू किया जाता है। रिव्यू के बाद तय होता है, की कौन सी कंपनी लिस्ट में बनी रहेगी और कौन सी कंपनी बाहर जायेगी। अगर कोई कंपनी बाहर जाती हैं तो उसकी जगह दूसरी अच्छी कंपनी निफ्टी में शामिल हो जाती है।

निफ्टी में अंको का बढ़ना तथा घटना पूरी तरह से इन 50 कंपनियों के ऊपर निर्भर करता है। अगर सारी कंपनियां अच्छा प्रदर्शन करती है तो अंको में भी बढ़ोतरी देखने मिलती है। शुरू में निफ्टी की value 1000 थी, जो आज बढ़कर 1700 से भी अधिक है। निफ्टी आने से पहले निवेशक Sensex देखकर शेयर मार्केट का हाल पता करते थे।

निफ्टी में भारत की टॉप 50 कंपनियां शामिल है, जिनका मार्केट कैप सबसे अधिक है। NSE में लिस्टेड इन टॉप 50 कंपनी के परफॉर्मेंस के अनुसार ही निफ्टी अंक का ग्राफ ऊपर या नीचे जाता है। निफ्टी में लिस्टेड कंपनियों की स्थिति जब अच्छी होती है, तो शेयर की कीमत बढ़ती है और निफ्टी के अंक में उछाल देखने मिलता है। वहीं निफ्टी के अंक नीचे जाने का मतलब है, निफ्टी में लिस्टेड कंपनियाँ खराब प्रदर्शन कर रही है, जिस वजह से निफ्टी नीचे की ओर जा रहा है। 

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निफ्टी की गणना कैसे होती है?  

शेयर मार्केट में कुछ मापदंड तय किये गए है, जिससे निफ्टी की गणना होती है। आपको बता दे, की NSE में 1600 से अधिक कंपनियां लिस्टेड है। इनमें से जिस कंपनी का मार्केट कैप 60% से अधिक है, वही कंपनी Nifty 50 की सूची में शामिल हो सकती है। सेंसेक्स की तरह निफ्टी की भी गणना Free float market capitalization द्वारा किया जाता है। निफ्टी में किस कंपनी को स्थान मिलेगा, किसको नहीं। ये कार्य एक टीम करती है जिसमे बैंक अधिकारी, म्यूच्यूअल फण्ड, सरकारी अधिकारी जैसे कई लोग मौजूद रहते है।

NIFTY और Sensex में क्या अंतर है?

कई लोग निफ्टी और सेंसेक्स के बीच का फ़र्क समझ नही पाते है। वो इसको लेकर अक्सर कन्फ्यूजन में रहते है। निफ्टी में शीर्ष 50 कंपनियां लिस्टेड रहती है, जबकि सेंसेक्स में 30 कंपनियां। दोनो ही एक स्टॉक इंडेक्स है। हालाँकि, सेंसेक्स और निफ़्टी दोनों का एक ही कार्य होता है, शेयर मार्केट की स्थिति बताना। निफ्टी को संचालित करने का कार्य (BSE) बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज करती है, वहीं निफ्टी NSE यानी नेशनल स्टॉक एक्सचेंज के अंतर्गत कार्य करती है। अगर हम बात करे बेस इंडेक्स वैल्यू की तो निफ्टी का 1000 और सेंसेक्स का 100 है। 

निष्कर्ष 

भारतीय शेयर बाजार में निफ्टी 50 की भूमिका सबसे अधिक है। इसी के जरिए निवेशको को पता लगता है की आज बाजार का क्या हाल है। इस पोस्ट में हमने ifty kya hai hindi mein, ये कैसे कार्य करता है और निफ्टी और सेंसेक्स इन दोनो के बीच क्या अंतर है? यह भी अच्छे से समझा। अगर फिर भी इससे संबंधित आपके मन में कोई सवाल है तो कमेंट करके आप पूछ सकते है। और ऐसे ही जानकारी पाने के लिए हमारे ब्लॉग के दूसरे आर्टिकल को पढ़कर न भूले। 

FAQs 

क्या निफ्टी से शेयर मार्केट के बारे में पता कर सकते है? 

निफ्टी से हमे बाजार में चल रहे उतार चढ़ाव की जानकारी मिलती है, जिससे निवेशक को निवेश करने में आसानी होती है। 

भारत में कुल कितने Nifty हैं?

भारत में सिर्फ एक ही निफ़्टी है जिसमें टॉप 50 कंपनी शामिल है। इसे 1996 में शुरू किया गया था, जो शेयर मार्किट की स्थिति बताता है।

निफ्टी देखने से हमे क्या पता चलता है?

निफ्टी के अंक देखकर हमे पता लगता है की आज शेयर मार्केट का हाल अच्छा है या ख़राब। अगर निफ़्टी कम है तो बाजार की इस्थिति सही नहीं जबकि अधिक अकं यानी अच्छा प्रदर्शन।

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